रायपुर। भांठागांव में डॉक्टर की हत्या करने वाले चार आरोपियों को कोर्ट ने आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। न्यायाधीश यशवंत वासनीकर की कोर्ट ने शनिवार को यह फैसला सुनाया है। लोक अभियोजक आदित्य कुमार झा ने बताया कि होली के दूसरे दिन शाम के समय चार युवक योगेश यादव, दीपक विश्वकर्मा, अरूण ध्रुव और संजय ध्रुव क्लिनिक में डॉक्टर जीवन जलक्षत्री को रंग लगाने के बहाने घुसे। क्लिनिक के अंदर जाकर उन्होंने डॉक्टर को रंग लगाने की बात कही तो उन्होंने मना किया। इस पर योगेश ने डॉक्टर से कहा कि तुम हमेशा नाटक करते हो, हर बात में मना करते हो कहते हुए अश्लील गालियां देना शुरू किया। इसी के साथ उन्होंने टेबल पर पड़े कैंची और अपने साथ लाए चाकू से डॉक्टर के पीठ और जांघ पर कई बार हमला किया। खून से लथपथ होकर डॉ. जलक्षत्री वहीं गिर पड़े। डॉक्टर के दोस्तों को क्लिनिक आते देख चारों युवक वहां से भाग निकले। डॉक्टर को पास के अस्पताल में लेकर जाने पर उन्हें दूसरे अस्पताल रेफर किया गया जहां रास्ते में ही उनकी मौत हो गई। पुलिस ने चारों आरोपियों को गिरफ्तार कर कोर्ट में पेश किया। मामले में चारों युवकों को कोर्ट ने डॉक्टर की हत्या का दोषी माना और उन्हें आजीवन कारावास की सजा सुनाई।
जानिए क्या था पूरा मामला
भाठागांव जोन ऑफिस के पास दो साल पहले होली शाम चार बदमाशों ने डाॅ. जीवन जलक्षत्री की चाकू से गोदकर हत्या कर दी थी। वारदात के समय डाॅ. जलक्षत्री क्लीनिक में अकेले थे। चारों बदमाश एक साथ घुसे और कुछ ही देर में वहां से भागते हुए निकल गए। पुलिस ने सीसीटीवी फुटेज की मदद से चारों का पता लगाकर देर रात छापेमारी की और सभी को गिरफ्तार कर लिया था। हत्या की वजह पुरानी रंजिश थीं। पुलिस के अनुसार चारों आरोपी दीपक विश्वकर्मा, योगेश यादव, संजय ध्रुव और अरुण ध्रुव का घर भाठागांव में डाॅ. जलक्षत्री के निवास के आस-पास ही है। हत्याकांड का खुलासा करते हुए आरोपियों ने बताया कि इन्हीं में शामिल अरुण का करीब एक साल पहले डाॅक्टर के साथ विवाद हुआ था। नाराज होकर डाॅक्टर ने उसे तमाचे जड़ दिए थे। अरुण उसी दिन से डाॅक्टर से खुन्नस पालकर रखा था। वह किसी न किसी तरह अपना बदला लेने की फिराक में था। होली के कुछ दिनों पहले ही अरुण को एक व्यक्ति ने डाॅक्टर के बारे में कुछ आपत्तिजनक बातें बताई थीं। उसकी बातें सुनकर अरुण नाराज हो गया। उसने अपने दोस्तों के साथ मिलकर डाॅक्टर की हत्या की साजिश रची।